भोले की नगरी काशी में इस वर्ष रोपवे का संचालन शुरू

हवा में चलेगा ट्रैफिक, सड़कों पर नहीं लगेगा जाम!

नई दिल्‍ली/वाराणसी: उत्‍तर प्रदेश के एक शहर में जल्‍द ही हवा में ट्रैफिक चलेगा. इस वजह से सड़कों में ट्रैफिक का दबाव कम हो जाएगा और जाम की संभावना भी कम रहेगी. जिससे दूर-दराज से आने वाले रोजाना लाखों श्रद्धालुओं का आवागमन आसान हो जाएगा. सड़क परिवहन मंत्रालय द्वारा इसका निर्माण कराया जा रहा है और यह प्रोजेक्‍ट तैयार होने वाला है.

नेशनल हाईवे अथारिटी ऑफ इंडिया की कंपनी नेशनल हाईवे लाजिस्टिक मैनेजमेंट लि. इस वर्ष 60 किमी. से अधिक लंबाई के रोपवे का काम शुरू करने जा रही है. इनमें से तमाम के टेंडर भी आवार्ड किए जा चुके हैं और कुछ अवार्ड होने वाले हैं. आइए जानें किस धार्मिक नगरी में रोपवे शुरू होने वाला है.

एनएचएलएमएल के सीईओ प्रकाश गौड़ ने बताया कि भगवान भोले की नगरी काशी में इस वर्ष रोपवे का संचालन शुरू हो जाएगा. सामान्‍य तौर रोपवे का निर्माण पहाड़ी इलाकों में ही होता था, सड़क परिवहन मंत्रालय ने शहरों में रोपवे के लिए अरबन रोपवे निर्माण किया है और इस वर्ष यह आम लोगों के लिए शुरू हो जाएगा.

सीईओ ने बताया कि इस दो किमी. लंबे रूट में तीन स्‍टेशन पड़ेंगे. पहला कैंट जहां से रोपवे शुरू हो रहा है. दूसरा विद्यापीठ और तीसरा रथयात्रा स्‍टेशन होगा. इस स्‍टेशन के पास भारत माता का मंदिर पड़ता है, इस मंदिर के दर्शन करने वाले लोगों को भी राहत होगी. रोपवे के लिए केबल कार स्विट्जरलैंड पहुंच चुकी है.

देश के ये हैं प्रमुख स्‍थान जहां बन रहे हैं रोपवे
उत्‍तराखंड में केदारनाथ, हेमकुंड साहिब और काठगोदाम से नैनीताल, कश्‍मीर में शंकराचार्य मंदिर, महाराष्‍ट्र में ब्रह्मगिरी से अंजानेरी और रामटेक मंदिर, मध्‍य प्रदेश में टिकीटोरिया मंदिर और महाकाल उज्‍जैन, उत्‍तर प्रदेश में संगम प्रयागराज, असम में कामाख्‍या मंदिर , गुजरात में गिफ्ट सिटी, अरणाचल प्रदेश में तवांग मोनेस्‍ट्री प्रमुख धार्मिक और पर्यटन स्‍थल हैं,जहां पर रोपवे निर्माण की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है.

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