कुछ बीमारियों में आवश्यक होती है फैमिली हिस्ट्री की जानकारी
जेनेटिक होने का रहता है रिस्क

स्वास्थय जानकारी : आज के समय में लोगों को कई तरह की बीमारियां हो रही हैं, जिसमें कुछ बीमारियां ऐसी होती हैं जिसमें डॉक्टर आपसे आपकी फैमिली हिस्ट्री पूछते हैं. अगर आपसे फैमिली हिस्ट्री पूछी जा रही है, तो यह एक गंभीर कारण होता है. दरअसल, कई बीमारियां ऐसी होती हैं, जो पीढ़ी दर पीढ़ी चलती हैं यानी उनका जेनेटिक रिश्ता होता है.
इन बीमारियों में पारिवारिक इतिहास का होना आपके लिए जोखिम बढ़ा सकता है और डॉक्टर उसी के अनुसार समय रहते जांच या इलाज शुरू कर सकता है.
हार्ट डिजीज
अगर आपके परिवार में किसी को हार्ट अटैक, हाई ब्लड प्रेशर या कोरोनरी आर्टरी डिजीज रही है, तो आपको भी यह बीमारी होने की संभावना अधिक रहती है. खासकर अगर यह 55 वर्ष से कम उम्र में किसी पुरुष रिश्तेदार को हुई हो या 65 से कम उम्र में किसी महिला को, तो यह जेनेटिक हो सकता है.
डायबिटीज
टाइप-2 डायबिटीज का सबसे बड़ा रिस्क फैक्टर जेनेटिक्स है. अगर माता-पिता में से किसी को डायबिटीज है, तो बच्चों में यह बीमारी होने का खतरा कई गुना बढ़ जाता है.
हाई ब्लड प्रेशर
यह बीमारी न सिर्फ जीवनशैली से, बल्कि अनुवांशिक रूप से भी प्रभावित होती है. अगर आपके माता-पिता को हाई बीपी है, तो आपको भी समय-समय पर इसकी जांच कराते रहना चाहिए.
मेंटल हेल्थ डिसऑर्डर
डिप्रेशन, बाइपोलर डिसऑर्डर, स्किजोफ्रेनिया जैसी मानसिक बीमारियों में भी जेनेटिक कड़ी पाई गई है. फैमिली हिस्ट्री होने पर भावनात्मक और मानसिक स्वास्थ्य पर विशेष ध्यान देना जरूरी हो जाता है.
अल्जाइमर और डिमेंशिया
बुढ़ापे में होने वाली ये बीमारियां भी अक्सर फैमिली हिस्ट्री से जुड़ी होती हैं. जेनेटिक फैक्टर्स के कारण इनकी संभावना बढ़ जाती है
कैंसर होता है जेनेटिक
कैंसर जैसे- ब्रेस्ट कैंसर, ओवेरियन कैंसर, कोलन कैंसर या प्रोस्टेट कैंसर का सीधा संबंध जेनेटिक कारणों से होता है. BRCA1 और BRCA2 जैसे जीन म्यूटेशन इसके लिए जिम्मेदार माने जाते हैं.
(जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. किसी भी सुझाव से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें)